नई नवेली पंजाबन भाभी कि चूदाई
हैलो दस्तो कैसे हैं आप सब? मेरा नाम विनीत है, में चंडीगढ़ का रहने वाला हूं. मेरी लंबाई 5.8 इन्च है, मै नॉर्मल बॉडी शेप का व्यक्ति हूं मैं, अभी 30 साल का हूं.
बिना आपका समय बर्बाद किए आज आपको बताऊंगा कि कैसे मैंने एक नई नवेली पंजाबन कि चूदाई कि।
यह बात तब कि है जब मैं 12 वीं क्लास में था। क्युकी मैं मैथ में बहुत कमज़ोर था तो मैंने हमारी कॉलोनी के अंकल के पास ट्यूशन रख ली। उनका नाम हरनाम सिंह था, वो पंजाब से थे और बहुत अच्छा मैथ पढ़ात थे। उनकी फैमिली में उनका बेटा कुलदीप था और उनकी पत्नी सरबजीत कौर थी, उनका एक ही बेटा था।
कुलदीप भैया दिल्ली में जॉब करते थे और जल्दी है उनकी शादी होने वाली थी। सरबजीत आंटी बीमार रहते थे थोड़े इसलिए वो जल्दी से जल्दी कुलदीप भैया कि शादी करवाना चाहते थे। जब कुलदीप भैया घर नहीं होते थे तो आंटी मुझसे ही घर का काम या घर का समान मंगवाते थे।
यहां मैं बता दू कि उनका घर 3 फ्लोर का था। सबसे ऊपर कुलदीप भैया का कमरा, बीच वाले में रसोई और अंकल ट्यूशन पढ़ाते थे। सबसे नीचे वाले में अंकल और आंटी सोते थे।
अभी जनवरी चल रहा था और पेपर कि तैयारी भी चल रही थी। ठंड के कारण में मूठ मारके काम चला रहा था। कुलदीप भैया कि शादी फरवरी में थी और देखते ही देखते वो दिन भी आगया।
क्यूंकि मैंने जैसे बताया कि में अंकल आंटी कि हेल्प कर देता था तो वो भी मुझे प्यार करते थे। इसलिए उन्होंने मुझे भी शादी में बुलाया था।
2 फरवरी कि शादी थी कुलदीप भैया कि बारात लुधियाना जा रही थी। क्युकी शादी तो दिन कि थी इसलिए बारात 10 बजे तक पहुंच गई। वैसे तो वहां पर बहुत सुंदर सुंदर सालिया थी भैया कि पर कोई भाव ही नहीं दे रही थी और भैया तो दुल्हन के आए लेकिन में खाली ही आगया।
भैया कि वाइफ का नाम जसमीत था, पंजाबी में खूबसूरत लड़की को टोटा बोलते है और जसमीत भाभी तो कयामत थी, एक दम गोरी दूध जैसी। यहां आपको बता दूं जसमीत भाभी कि हाईट 5.4 इन्च है और उनका शरीर का गोल चेहरा, 36 के मोमे, 28 कि कमर, 34 गान्ड क्या बात! लंबे काले बाल बस जो एक बार देख ले वो तो मूठ मारे बिना नहीं रह सकेगा उस दिन।
आज शादी का दूसरा दिन था, जसमीत भाभी ने लाल रंग का सलवार कमीज़ पहना था और पैरों में भारी भारी पायल, लाल चूड़ा लाल बिंदी लाल नेल पॉलिश लाल लिपस्टिक लगाती हुई थी और उनकी चाल थोड़ी ऐसी थी कि जैसे कुलदीप भैया ने अच्छे से ठुकाई कि है उनकी।
जब मैं शाम को ट्यूशन गया तो बी जी यानी सरबजीत आंटी ने बोला की मुझे अपनी भाभी को बुला कर ला। मैंने भाभी के रूमका दरवाज़ा खटकाया, भाभी सर पे दुपट्टा लेती हुई आई।
मैंने बोला कि आपको बिजी ने बुलाया है, तो वो मेरे साथ चल दी। मैं आगे था वोह पीछे थी, जब हम सीढ़ियां उतर रहे थे तो उनकी पायल कि छन छन से मेरा लन्ड खड़ा हो रहा था। पर मैंने लंबी जर्सी पहनी थी तो पता नहीं लग रहा था।
फिर हम नीचे आ गए तो सरबजीत बी जी ने बोला की “जसमीत बेटा मेरा सर बहुत दर्द कर रहा है, तू अदरक चाय बना ले और विनीत को भी एक कप दे देना, ये हमारा ही लड़का है, तेरा छोटा देवर है यह तुझे दूध लाकर देगा”
“भाभी ने बोला ठीक है विनीत तुम दूध लेकर किचन में आजाना मैं तब तक चाय का पानी उबाल लेती हूं”
मैंने कहा ठीक है, मैं दूध लेने चला गया पर बी जी को कहा पता था कि उनका ये आज्ञाकारी बेटा इतना शरीफ नहीं है। फिर मैं पास कि दुकान से दस मिनट में ही दूध ले आया और सीधा किचन में गया। भाभी चाय का पानी उबाल रही थी, मैंने दूध का पैकेट भाभी को दिया तो उन्होंने बोला विनीत एक काम करोगे?
मैंने पूछा क्या? तो उन्होंने बोला कि में बाथरूम में अपना मोबाइल भूल गई क्या तुम ले आओगे? मैंने बोला ठीक है अभी ले आता हूं।
आपको बता दू कि उनका बाथरूम तीसरे कमरे के ऊपर था। में सीढ़ियां चढ़ के गया उनके रूम में। भैया सो रहे थे, में सीधा बाथरूम में गया तो देखा बाथरूम के शेल्फ में भाभी का मोबाइल रखा है और नलके पर उनकी काली ब्रा और पैंटी भी टंगी थी।
मैंने ब्रा को हाथ में लिया उससे सूंघा तो उसमें से भाभी कि खुशबू आ रही थी। मैंने उसी अपने लौड़े पे दो मिनट रगड़ा फिर वैसे ही टंगा दिया और मोबाइल लेकर नीचे चला गया। फिर उन्होंने मुझे एक कप चाय आंटी जी को देकर आने को कहा।
मैं फटाफट से बी जी को चाय देकर आ गया। फिर उन्होंने एक कप मुझे दिया और खुद कि और भैया कि ट्रे में रख ली और बोला तुम भी साथ आजाओ। फिर हम उनके रूम में चले गए फिर उन्होंने भैया को उठाया और चाय दी। भैया ने पूछा कि कैसी चल रही पढ़ाई? मैंने बोला सब ठीक चल रहा है थोड़े दिनों में पेपर शुरू है।
फिर भैया ने जसमीत भाभी से बोला कि यह मेरे छोटे भाई कि तरह ही है कुछ काम हो तो इसे बता देना और फिर मुझे बोला कि ओय तू अपनी भाभी कि हेल्प कर दिया कर। मैंने बोला जी भैया आप जब बोलो तभी हाज़िर हूं।
जब ऊपर वाला देता है तो कोई ना कोई बहाना बना ही देता है और ऐसा ही हुआ। अभी 4 दिन ही हुए थे को अंकल जी के एक करीब रिश्तेदार कि मौत हो गई थी और वोह दो तीन दिन तक तो वापस नहीं लौटने वाले थे।। क्युकी आंटी बीमार थी इसलिए वोह नहीं जा सकती थी और अंकल खुद से ज्यादा ड्राइव नहीं कर सकते थे। इसलिए कुलदीप भैया साथ जा रहे थे पर गा में दो औरतें अकेले कैसे छोड़ कर जाए फिर।
भैया का कॉल आया कि जल्दी आजा घर।
में फटाफट से उनके घर गया, भैया ने बोला कि हम किसी रिश्तेदार कि मौत हो गई है वहां जा रहे है। हो सकता है वोह अंकल को छोड़ कर ही आजाए तब तक मैं उनके घर पर ही रहूं।
मैंने बोला कि आप मेरी मम्मी से बोल दो। फिर भैया ने मम्मी से बात कि और बोला कि विनीत 2 दिन तक हमारे घर रहेगा क्यूंकि वो किसी रिश्तेदार के शोक सभा में जा रहे हैं। मम्मी ने भी बोल दिया कि ठीक है विनीत वहीं रहेगा और कॉल कट गया।
फिर अंकल ने बोला कि “जसमीत बेटा तू इससे पढ़ा भी देना इसका एग्जाम भी है 2 दिन में”
भाभी ने बोला “जी पापा जी पढ़ा दूंगी” और फिर कुलदीप भैया और अंकल निकल गए।
मैंने बोला कि मैं शाम को 7 बजे तक आऊंगा। भाभी ने बोला कि अपनी बुक्स भी ले आना और कपड़े भी।
बस क्या था फिर मैं अपनी मां को बोल के 7 बजे तक चला गया। जब मैं गया तो भाभी खाना बना रही थी और बी जी टीवी देख रही थी। मैं नीचे वाले रूम में बी जी के साथ ही बैठ गया। बी जी ने बोला एक पता उठा के दवाई का। मैंने गलत उठा लिया तो वो बोली पागल यह नींद कि है तू बीपी वाली दे। फिर मैंने सही पता दे दिया उन्हें दवाई का।
अब 8 बज गए थे, भाभी ने आवाज़ लगाई कि खाना ले जाओ विनीत। मैं किचन में गया तो आज भाभी ने गहरा हरे रंग का सलवार कमीज़ पहना हुआ था और ब्राउन रंग कि स्वटेर पहना था। वो रंग इतना खिल रहा था उनके ऊपर कि वोह किसी अप्सरा से कम नहीं लग रही थी।
आलू गोभी कि सब्जी और रोटी पहले से ही डाल के रखी थी प्लेट में भाभी ने बोला यह प्लेट तेरी और बी जी कि है नीचे ही खा ले तू बी जी के पास फिर पढ़ाऊंगी तुझे। मैंने बोला ठीक है आप पहले काम करलो।
फिर मैं खाना लेकर नीचे चला गया। मैंने और बी जी ने खाना खा लिया, अभी 8:45 हो गए थे। भाभी पानी ले कर नीचे आये तब बी जी ने वोह नींद वाली दवाई भी ले ली और कहा कि विनीत को तू अपने कमरे में ही सुला लेना और गेट का ताला लगा लेना।
भाभी ने बोला विनीत तू लॉक लगा के ऊपर आज बुक्स लेकर। फिर वोह ऊपर चले गए।
मैं भी ताला लगा के भाभी के रूम में चला गया। जब मैं गया तो भाभी ने रूम हीटर चलाया हुआ था जिससे की रूम गरम था इसलिए भाभी ने अपनी स्वेटर निकाल दी थी और दुपट्टा भी नहीं लिया था। भाभी बेड पर बैठ के खाना खा रहे थे। उन्होंने बोला विनीत बस 10 मिनट और रुक जा मैं खाना खा लूं फिर पढ़ते है। मैंने बोला आप आराम से खालो।
फिर भाभी खाना खा के बोली कि बुक्स ले आ। वोह बेड पर बैठी थी, उन्होंने बोला तू कुर्सी ले आ आगे। फिर वोह मुझे मैथ के सम समझाने लगे क्यूंकि वोह झुक के बैठे थे इसलिए भाभी के क्लीवेज से उनके मोमे आधे दिख थे। लेकिन उन्हें इस बात को पता नहीं था कि मेरा ध्यान पढ़ाई में नहीं उनके चूचों कि तरफ है।
9 से 11 बज गए थे भाभी ने बोला कि अब कल पढ़ाऊंगी अब सो जाते है।
मैंने बोला ठीक है, मैंने किताबें रख दी।
भाभी ने बोला कि तू सोफे पर लेट जा। मैं भी सोफे पर लेट गया, भाभी भी बेड पर लेट गए। फिर मुझे ठंड लगने लगी 15 मिनट बाद, तो भाभी बोली कि तू बेड पर ही आजा।
मैंने बोला नहीं मैं ठीक हूं, उन्होंने बोला कि नहीं बीमार हो जाएगा। फिर मैं बेड पर लेट गया, भाभी लेफ्ट साइड सो रहे थे और में राइट साइड पे। लेकिन मुझे कहा नींद आ रही थी।
12:30 बज रहे थे, भाभी को शायद कम्बल में गर्मी लग रही थी तो उन्होंने कम्बल उतर दिया और पैर बाहर निकाल लिया थे। वो करवट ले कर सो रही थी, उनकी गान्ड मेरी तरफ थी, उनका सलवार जो कि थोड़ा ऊपर उठा हुआ था उनको गोरी दूध जैसी पिंडली देख के मेरा लन्ड चैन नहीं पा रहा था। गोरे गोरे पैरो पर रची हुई लाल मेहंदी वोह भी पिंडलियों तक और हाथो में भी उफ्फ क्या बताऊं!! लोड़ा पैंट फाड़ के बाहर आ रहा था।
में धीरे से भाभी कि तरफ को सरका और हल्के से अपना हाथ उनकी गान्ड पर सहलाने लगा। जब जसमीत भाभी कि तरफ से कोई विरोध नहीं हुआ तो मैंने उनकी लात पे अपना पैर टच किया। तभी वो उठ गई और मुझे डांटने लगी कि क्या कर रहे हो तुम??!
मैंने बोला कुछ नहीं फिर, उन्होंने बोला तुम मेरे पैरो पर अपना पैर क्यों लगा रहे थे? मैंने सॉरी बोला, उन्होंने बोला ठीक है अब आराम से सोजाओ।
फिर में वापस से अपनी साइड जा कर लेट गया। लेकिन मुझे कहा नींद आ रही थी, मेरे दिमाग में तो जसमीत भाभी के गोरे गोरे पैर घूम रहे थे। फिर जब मुझसे रहा नहीं गया तो मैंने उन्हें जगाया-
“भाभी उठो”
वो बोली अब क्या है?
मैंने बोला मुझे बस एक बार आपका दूध पीना है।
वो बोली पागल हो क्या दिमाग खराब होगया क्या तुम्हारा??!
मैंने बोला है क्युकी आप हो ही इतने सुन्दर तो क्या करू..
वो बोली मुझे नहीं पता था तू इतना गन्दा है ।
मैंने बोला मैं किसी को नहीं बोलूंगा प्लीज़ प्लीज़ और रोने कि एक्टिंग करने लगा।
वो बोली तू रो क्यों रहा है, बी जी उठ जाएंगे चुपचाप सोजा!
मैंने बोला नहीं तुम दूध पिलाओ नहीं तो मेरी आवाज़ सुनकर बी जी आ गए तो आप को ही प्रॉब्लम होगी।
फिर रिक्वेस्ट करने पे वो मान गई।
“ठीक है लेकिन किसको नहीं बोलना”
मैंने बोला प्रॉमिस।
फिर उन्होंने अपना कुर्ता ऊपर किया और लाल रंग कि ब्रा हटा दी और बोली सिर्फ 1 मिनट ही।
मैंने बोला 5 तो लगेंगे दोनों पे कम से कम।
वो बोली नहीं एक ही।
मैंने बोला ठीक है आप लेट जाओ सीधा।
फिर वोह सीधे लेट गई, मैंने उसका कुरता ऊपर किया और राइट बूब चूसने लगा। वो सी सी करने लगी, फिर मैंने दूसरी चूची भी पीनी शुरू करदी, वोह चूचियां ब्राउन रंग कि थी। मैंने कम से कम 7 मिनट तक पिया।
क्यूंकि उसने आंखे बंद कर रखी थी तो मैंने भाभी के होठों पर एक स्मूच कर दी।
उन्होंने बोला ये क्या था??
मैंने बोला मेरा दिल किया भाभी आप पूरी परी हो।
उन्होंने कमीज़ नीचे कर लिया और बोला सो जाओ अब।
मैंने बोला नहीं पहले में आपको किस करूंगा।
वो बोली क्या अब? कुछ नहीं मैंने बोला। मैं अभी नीचे है रहा ही बी जी को बताने।
फिर वो बोली ठीक है करलो।
मैंने बोला लिप्स पर नहीं नीचे।
वोह बोली कहा नीचे?
मैंने कहा चुत पे, अगर तुम आराम से करने दोगी तो मैं शरीफ इंसान कि तरह आराम से हट जाऊंगा।
वोह मान गई और अपनी सलवार का नाड़ा खोलने लगी।
मैंने बोला नहीं मैं ही खोलूंगा, तुम बस आराम से सीधे आंखे बंद करके लेट जाओ। जसमीत भाभी आराम से सीधी लेट गई।
फिर मैंने पहले उनके गोरे मेहंदी लगे पैरो पे किस्स किया और उनकी पैर कि उंगलियां एक एक करके चूसी, उन्होंने कुछ नहीं कहा।
फिर मैंने उनके पेट से कुर्ता ऊपर किया और उनका नाड़ा खोला और उनकी सलवार नीचे उतार दी। उन्होंने नीचे काले रंग कि पैंटी पहनी थी, मैंने पैंटी ले अपनी नाक लगाई तो उसमें से थोड़ी थोड़ी पेशाब जैसे महक आ रही थी, भाभी बोली जल्दी करो।
मैंने फटाफट उनकी पैंटी नीचे कर दी जो की अभी भी उनके घुटनों पर ही थी, जैसे ही मैंने उनकी पैंटी नीचे कि मेरे होश उड़ गए उनकी टाइट चुत एक दम गोरी और हल्के हल्के बाल थे।
मैंने बोला आप टांगे चौड़ी करो तभी तो मैं किस का सकूंगा। पहले नखरे किए फिर टांगे चौड़ी कर ली फिर मैंने पूरी पैंटी निकाल दी और मैंने उनकी चुत पे किस्स करना शुरू कर दिया। जैसे ही मैंने एक दो किस्स किए वो सिसक सी गई।
फिर मैंने जसमीत भाभी कि चुत चाटना शुरू करदी, तब उन्होंने मेरा सर ज़ोर से चुत में सटा लिया। मैंने भी अपनी जीभ चुत के छेद में डालकर चाटना शुरू करदी। उन्होंने मेरा सर पकड़ लिया।
10 मिनट तक चुत चाटने के बाद मैंने अपनी उंगली उनकी चुत में अंदर बाहर डालनी शुरू कर दी। वो बोली नहीं यह नहीं प्लीज़। मैंने बोला भाभी प्लीज थोड़ा साथ दो और ज़ोर ज़ोर से अंदर बाहर उंगली चलाना शुरू कर दिया। और 5 मिनट के बाद ही फिर से चुत चाटना शुरू कर दिया।
अब भाभी को खुद ही होश नहीं था सी सी उफ्फ उफ्फ विनीत नहीं मत करो स्स स… अब मुझे पता चल गया कि बाजी अपने हाथ में है।
मैंने भाभी के ऊपर लेट गया और अपने लेफ्ट हाथ से उसका राइट चूचा दबाने लगा और अपने राइट हाथ से चुत में उंगली अन्दर बाहर करने लगा और भाभी कि बाईं चूची चूसने लगा उफ्फ़ विनीत हा स्सससससससससससससससससससससस…
बस 20 मिनट में ही वोह झड़ गई और भाभी का चुत का रस मेरे हाथ पे आ गया, मैंने फटाफट से सारा रस पी लिया और चुत चाट चाट कर साफ़ कर दी। जसमीत भाभी आंखे बंद करके लेटी थी।
मैंने पूछा जसमीत भाभी बस मुझे एक बार करने दो..
तब भाभी ने बोला ठीक है सिर्फ एक बार ही..
मैंने बोला ठीक है लेकिन मैं शुरू से करूंगा।
वोह बोली कैसे?
मैंने बोला बस आप साथ दो और लेट रहो।
वोह आंखे बंद करके लेट गई।
फिर मैंने सबसे पहले उनके लाल लाल लिप्स पर किस्स कि, पर वह लिप्स नहीं खोल रही थी। मैंने बोला प्लीज़ होठ खोलो, फिर हमने एक दूसरे को किस्स किया।
फिर मैंने उनका हरा रंग का कमीज़ निकाल दिया वोह बी मेरे सामने सिर्फ लाल ब्रा में थी। फिर मैंने उनकी ब्रा भी निकाल दी और एक एक करके दोनों चूचे पीने लगा। वोह भी आ उफ्फ फ्फ फ्फ़ आ स्ससससससस कर रही थी।
मैंने उनके दाएं चूची पर एक हल्का दांत से काटा तो वो बोली तुम्हारे भैया को शक हो जाएगा आराम से करलो।
फिर मैंने उन्हें दोबारा से किस्स किया और अब मैंने उनका हर एक अंग आंखे, नाक, कान, माथा सब जगह किस्स करते हुए पेट पर आ गया। फिर मैंने दोबारा से उनकी चुत पर किस्स करना शुरू कर दिया।
उफ्फ विनीत आह आह सिसकारियां के रही थी..
फिर मैंने उन्हें पूछा की चुत में डाल दू?
तब भाभी ने बोला कि बेड के ड्रोअर से कंडोम निकाल लो।
मैंने फटाफट से कोंडोम निकाल के लन्ड पर चढ़ा लिया और भाभी कि जांघो के बीच घुटने मोड़ के बैठ गया। जसमीत भाभी अभी भी आंखे बंद करके लेटी थी। मैंने फिर से पूछा की डाल दूं क्या?
भाभी ने है में सर हिला दिया।
मैंने बोला ऐसे नहीं मुंह से बोलो आंखे खोल कर।
फिर भाभी ने हलकी सी आंखे खोल ली और बोला हा जल्दी करो।
बस फिर क्या था मैंने लोड़ा पकड़ा और चुत के मुंह पर रखा और थोड़ा अन्दर किया तो कोंडोम लगाने के बावजूद भी अंदर नहीं जा रहा था।
मैंने चुत पे दबाव बनाय, भाभी ने होंठ भींच लिए और मेरा कंधा पकड़ लिया। इस बार मैंने ज़ोर का धक्का मारा भाभी कि टाइट चुत में लोड़ा थोड़ा अंदर चला गया और वोह उफ्फ उफ्फ उफ्फ विनीत करने लगी।
इस बार मैंने एक और शॉट दबाके मेरा पूरा लन्ड भाभी कि चुत में चला गया और भाभी एक दम से आह आह आह मर गईं उफ्फ हाय आह विनीत नहीं…
फिर मैंने भाभी को किस करने कहा उनके होंठो पर और उनकी चूची दबाने लगा। जब उनको थोड़ा सुकून सा मिला मैंने धीरे धीरे से लन्ड अन्दर बाहर करना शुरू कर दिया। आह आह म्ह हु हू मोंन करने लगी..
हम मिश्नरी पोजिशन में थे और अब भाभी भी मेरी कमर सेहला रही थी। और जैसे जैसे में धके दे रहा था वैसे वैसे ही भाभी कि भारी पयालो कि छन छन छन कि आवाज़ भी चूदाई के माहौल को और भी सेक्सी बना रही थी।
उफ्फ उफ़ उफ़ आह आह विनीत आह भाभी सिसकारियां लेकर बोल रही थी।
10 मिनट चोदने के बाद मैंने उन्हें डॉगी पोजिशन में कहा। वोह अब घुटनों के बल कुटिया कि तरह बेड पर बैठ गई। मैंने लोड़ा फिर से चुत में देकर शॉट शॉट लगाने शुरू कर दिए।
आ आ आ उउ ओह ह म म म म धीरे धीरे करो विनीत आह आह उफ्फ ऊफ ओह ओह…
लेकिन मेरे सर पे तो चोदने का भूत सवार था। मैंने भाभी कि कमर पकड़ के तेज़ तेज़ धक्के मार रहा था और भाभी अब तक एक बार और झड़ चुकी थी।
ओह ओह ओह मर गई विनीत आह हम्म ओह उफ्फ आई..
और पायल कि छन छन कर साथ चूदाई कि चप चप कि आवाज़ कमरे में गूंज रही थी। और बी जी तो वैसे भी नींद कि दवाई खा के आराम से सो रही थी और इधर में उनकी नई नवेली बहु कि ठुकाई कर रहा था।
चोदते हुए 25 मिनट हो चुके थे, अब मेरा लेस (वीर्य) निकल वाला था। मैंने लोड़ा बाहर निकाल लिया और कोंडोम हटा दिया और भाभी को लोड़ा चूसने को बोला।
वो ना करने लगी, मैं बोला थोड़ा सा ही चूस लो। फिर भाभी ने मेरा लन्ड हाथ में लिया और चूसने लगी। अभी 2 मिनट ही हुए थे फिर मैने बोला रुको भाभी और मैंने उन्हें सीधे बेड पे लेटने को बोला और में खुद बेड से नीचे उनके पैरो कि तरफ खड़ा हो गया। क्युकी मैं इतनी जल्दी अपना लेस नहीं छोड़ना चाहता था।
मैंने भाभी कि चुत चाटना शुरू कर दिया और 5 मिनट के बाद मैंने भाभी के बाएं पैर के अंगूठे और उंगली के बीच लोड़ा फसा दिया और उनके दाहिने पैर के अंगूठे से लौड़े के ऊपर कर दिया और भाभी को फूटजोब करने को कहा।
भाभी ने भी अपने पैर से मेरा लोड़ा आगे पीछा करना शुरू कर दिया। उनके सॉफ्ट सॉफ्ट पैरो से मेरे लौड़े में और भी उत्तेजना ही रही थी।
5 मिनट में जब मुझे लगा अब तो मेरा लेस निकाल ही जायेगा। तब मैंने उन्हें पैर सीधे बेड पर रखने को बोला। फिर भाभी ने घुटने मोड़ के पैर बेड पर रख लिए और मैंने अपना लोड़ा हाथ से हिलाना शुरू कर दिया।
2 मिनट में ही मैंने अपना सारा लेस जो कि 14 ग्राम होगा भाभी के पैरो पर छोड़ दिया। भाभी के गोरे गोरे मेहंदी लगे पैरो पर सारा सफेद लेस छोड़ दिया और फिर मैंने अपने लौड़े से ही उनके पैरो को अपने लेस से पूरा लिप दिया।
अब मेरा लोड़ा ढीला हो गया और मैंने भाभी कि जांघे खोल कर उनके ऊपर ही लेट गया और उनको किस्स किया और बोला कि मैं आपका यह एहसान कभी नहीं भूलूंगा।
भाभी कुछ नहीं बोली, वोह आंखे बंद करके लेटी रही। इतनी ठंड होने के बावजूद भी पसीने से तर थे, फिर में साइड में आ गया और भाभी को कम्बल ओढ़ा दिया। भाभी भी थक गई थी इसलिए वोह ऐसे ही सो गई।
अब रात के 2:30 बज गए थे, भाभी ने करवट बदल ली लेकिन इतने के बाद भी मेरा लोड़ा कहां चैन पा रहा था। 10 मिनट बाद ही फिर खड़ा हो गया। में दोबारा से भाभी कि तरफ गया और उनको हग कर लिया, मेरा लोड़ा उनकी गान्ड पर टच कर रहा था।
उनकी आंख फिर खुल गई, जसमीत भाभी बोली विनीत अब सो जाओ प्लीज़… मैंने उनके नंगी कमर पे किस्स किया फिर उनकी गर्दन पर। भाभी बोली अब तो सो जाओ!
लेकिन मेरा लोड़ा तो नहीं मान रहा था, मैंने भाभी के चूचे दबाने शुरू कर दिए। लेकिन भाभी ने कुछ नहीं कहा, फिर मैंने बैठ के उनके मुंह पे लोड़ा दे दिया और उनका मुंह चोदने लगा।
5 मिनट तक मुंह चोदन के बाद मैंने लेटे लेटे ही पीछे से उनकी चुत में लोड़ा अंदर डाल दिया।
आह आह आह आह आह आह आह उह उह उह उफ्फ उफ्फ उफ़ विनीत बस बस आह आह…
अब चोदते चोदते 20 मिनट हो गए थे, मेरा लेस निकलने वाला था, मैंने बोला भाभी मेरा निकलने वाला है।
वोह बोली अन्दर मत छोड़ना।
मैंने बोला फिर आप मेरा पी लो।
वो बोली नहीं!
मैंने बोला आप लोड़ा मुंह में लो, में मुंह में नहीं छोडूंगा।
उन्होंने मेरा लोड़ा मुंह में ले लिया, फिर अब मेरा लेस जब निकलने हो गया, मैंने उनके चेहरे पर ही सारा लेस छोड़ दिया और उनके होंठो पर लोड़ा रगड़ने लगा।
उनका चेहरा मेरे लेस से लीपा हुआ था और उनकी चुत सुज चुकी थी। भाभी अब उठ नहीं सकती थी, मैंने उनकी ब्रा से ही उनका चेहरा साफ कर दिया और अपना लोड़ा भी। अब मैंने उनको उनके पूरे कपड़े पहना दिए और उनके साथ ही सो गया।
आप अपने विचार और कोई चूदाई चाहती हो तो मुझे जरूर ईमेल करे – vinitahuja25@gmail.com अगली कहानी में बताऊंगा कैसे मैंने दूसरे दिन उनके साथ सुहागरात मनाई।